सारांश
एक लड़का अपने पिता के मंदिर में एक संदूक खोलता है, और उसके अंदर से एक हन्यौ, एक आधी दानव, आधी इंसान लड़की निकलती है, जो अपनी मां और अपने पिता की मौत का बदला लेने के अलावा और कुछ नहीं चाहती है। ऐसा होता है कि लड़का बिल्कुल अपने पूर्वज जैसा दिखता है, जिसने लड़की और माँ की हत्या की थी।